तमिलनाडु की राजधानी चेन्नई से एक हैरतअंगेज मामला सामने आया है जहां पर एक बुजुर्ग को मरा हुआ समझकर 20 घंटे तक फ्रीजर में रखा ताकि परिवार के आने तक लास्ट खराब ना हो जाए परंतु सब लोग इस बात से अनजान थे कि फ्रीजर में बंद लाश कोई लाश नहीं थी बल्कि एक जिंदा इंसान था।
जिंदा बुजुर्ग को समझा म्रत
दरअसल यह मामला चेन्नई की कदम पट्टी गांव का है। जिस व्यक्ति को मरा हुआ समझकर फ्रीजर में रखा गया उसका नाम बाला सुब्रह्मण्य है। बाला सुब्रह्मण्य के भाई श्रवण को एहसास हुआ कि फ्रीजर में किसी प्रकार की हलचल हुई है। इसके बाद उसने शीघ्र ही फ्रीज़र का डब्बा खोलकर देखा और पाया कि उसका बड़ा भाई बाला सुब्रह्मण्य जिंदा है।
इसके बाद उसे तत्कालीन अस्पताल में भर्ती कराया गया, साथ ही अस्पताल में मौजूद सभी डॉक्टर इस बात से हैरान थे कि 20 घंटे तक फ्रीजर में रहने के बाद भी कोई जिंदा कैसे रह सकता है। अभी भी फिलहाल बाला सुब्रह्मण्य अस्पताल में भर्ती हैं परंतु उनकी हालत अब ठीक है।
पुलिस के मुताबिक, सोमवार को बालासुब्रमण्या बेहोश हो गए थे। उनके छोटे भाई को लगा कि उनकी मौत हो गई है। ऐसे में लाश को प्रिजर्व रखने के लिए उन्होंने फ्रीजर बॉक्स मंगवाया था। पुलिस के मुताबिक, छोटे भाई श्रवण की दिमागी हालत ठीक नहीं है। फिलहाल डॉक्टर की सलाह के बाद उनसे पूछताछ की जाएगी।
Discussion about this post